भारत सरकार ने हाल ही में घोषणा की कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती को “पराक्रम दिवस” के रूप में मनाया जाएगा। नेताजी का जन्म 23 जनवरी, 1897 को हुआ था
आज 23 जनवरी को 2022 को नेताजी सुभाष चन्द्र बोस की जयंती के अवसर पर देश भर में ‘पराक्रम दिवस’ मनाया जा रहा है।
नेताजी सुभाष चंद्र बोस
“जय हिंद” शब्द नेताजी सुभाष चंद्र बोस द्वारा गढ़ा गया था।
नेताजी एक राष्ट्रवादी भारतीय व्यक्ति और देश प्रेमी थे।
नेताजी सुभाष चंद्र बोस का जन्म कटक (उड़ीसा) में हुआ था उन्होंने दर्शनशास्त्र से अपने उच्च डिग्री हासिल की थी उसके बाद वे भारतीय सिविल सेवा परीक्षा में उत्तीर्ण किया परंतु उन्होंने यह नौकरी करने से साफ इनकार कर दिया क्योंकि ब्रिटिश की गुलामी नहीं करना चाहते थे।
1921 में नेताजी ने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस पार्टी में शामिल हुए।
नेताजी ने “स्वराज” नाम से एक अखबार शुरू किया था।उन्होंने “द इंडियन स्ट्रगल” नामक एक पुस्तक लिखी थी। इस पुस्तक में 1920 और 1942 के बीच भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन को शामिल किया गया है।
भारतीय राष्ट्रीय स्वतंत्रता संग्राम में नेताजी की भूमिका
नेताजी को 1925 में उनकी राष्ट्रवादी गतिविधियों के लिए जेल में डाल दिया गया था।बाद में 1927 में उन्हें रिहा किया गया। उनकी रिहाई के बाद, वह भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के महासचिव बने।उन्होंने 1939 में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के एक भाग के रूप में ऑल इंडिया फॉरवर्ड ब्लॉक का गठन किया।
उन्होंने 1939 में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के एक भाग के रूप में ऑल इंडिया फॉरवर्ड ब्लॉक का गठन किया।
1941 में बोस अफगानिस्तान और सोवियत संघ के रास्ते जर्मनी चले गये थे।जर्मनी में, नेताजी जर्मन नेताओं और अन्य भारतीय छात्रों और यूरोपीय राजनीतिक नेताओं से मिले।
उन्होंने 4,500 भारतीय सैनिकों के साथ ‘Indian Legion’ की स्थापना की।
इन सैनिकों को उत्तरी अफ्रीका से जर्मनों द्वारा कैद किया गया था। 1943 में, उन्होंने जापान के लिए प्रस्थान किया और ‘इंडियन नेशनल आर्मी’ को पुनर्जीवित किया।