इराक की राजधानी बगदाद में संसद ने एक कानून पारित किया है जिसमें समलैंगिकता संबंधों को अपराध घोषित किया गया है। इराक की संसद में इसके लिए सख्त दंड का प्रावधान भी किया गया है जबकि भारत में समलैंगिकता अपराध नहीं है।
इराक में अधिकारों की वकालत करने वालों ने समलैंगिक, उभयलिंगी और ट्रांसजेंडर (एलजीबीटी) समुदाय के खिलाफ भेदभाव के रूप में इसकी निंदा की है।विधायिका ने 1988 के वेश्यावृत्ति विरोधी कानून में संशोधन के लिए मतदान किया, जिसमें समलैंगिकों के लिए 10 से 15 साल की जेल की सजा का प्रवधान है। यह कानून इराक में “किसी भी तरह से” वेश्यावृत्ति और समलैंगिक संबंधों को बढ़ावा देने पर प्रतिबंध लगाता है।
इराकी स्वतंत्र पोर्टल के अनुसार प्रारंभिक मसौदे में समलैंगिक संबंधों के लिए मौत की सजा का प्रस्ताव किया गया था।
इराकी संसद के कार्यवाहक प्रमुख मोहसिन अल-मंडलवी ने विधेयक का बचाव किया।
अपराधी को दी जाएगी 7 साल की जेल व कठोर दंड
अलजजीरा के मुताबिक, इराक में अब समलैंगिकता या वेश्यावृत्ति को बढ़ावा देने वाले लोग और लिंग परिवर्तन सर्जरी करने वाले डॉक्टरों को जेल में डाला जाएगा। इसके अलावा, जानबूझकर महिलाओं की तरह बर्ताव करने वाले पुरुष और पत्नी की अदला-बदली में शामिल लोगों को भी नए कानून के तहत जेल की सजा हो सकती है। समलैंगिक संबंधों को बढ़ावा देने वाले लोगों के लिए 7 साल की सजा का प्रावधान है।
इराक में साल 1980 में प्रॉस्टीट्यूशन कानून में बदलाव करके इसमें समलैंगिक संबंधों के लिए मौत की सजा जोड़ी गई थी। इस फैसले का अमेरिका समेत कई पश्चिमी देशों ने विरोध किया, जिसके बाद इसमें दोबारा बदलाव किए गए हैं।
ब्रिटेन के विदेश मंत्री का बयान
वहीं ब्रिटेन के विदेश मंत्री डेविड कैमरून ने इस कानून को खतरनाक और चिंताजनक बताया है। उन्होंने कहा, “किसी भी व्यक्ति को उसकी पहचान के आधार पर टारगेट नहीं किया जाना चाहिए। हम इराक की सरकार से अपील करते हैं कि वो मानवाधिकारों और लोगों की आजादी की रक्षा करें।”
जाने किन देशों में समलैंगिकता अपराध है और किन देशों में नहीं…
समलैंगिकता का मतलब होता है जब एक ही जेंडर वाले एक दूसरे के साथ संबंध बनाते हैं। ऐसे संबंधों को कुछ देशों में मान्यता दी गई है और कुछ देशों में इसको अपराध घोषित कर दिया गया है यानि इसको मान्यता नहीं दी गई है ।भारत मैं समलैंगिकता संबंध अपराध नहीं है।
समलैंगिकता संबंध
समलैंगिकता का तात्पर्य
समलैंगिकता का तात्पर्य समान लिंग के लोगों के बीच आकर्षण से है। यह ग्रीक शब्द होमोस से आया है, जिसका अर्थ है “वही।” यह एक यौन अभिविन्यास है, जो पुरुष, महिला और गैर-बाइनरी जैसी लिंग पहचान के विपरीत है। जो लोग समलैंगिक हैं वे स्वयं को समलैंगिक, लेस्बियन, एलजीबीटीक्यू , क्वीर या कई अन्य शब्दों से संदर्भित कर सकते हैं।